नमस्कार दोस्तों मेरा नाम है ओंकार और मेरी वेबसाइट OKTECHGALAXY.COM पर आपका फिर से स्वागत है । दोस्तों आज के इस पोस्ट का मुख्य उद्देश्य यही है कि आज हम टाइम ट्रैवल क्या होता है और किस तरह से टाइम वर्क करता है इसके बारे में बात करेंगे । क्योंकि हमारे वेबसाइट का एक सेक्शन या कैटेगरी है जिसमें हम हमारी गैलेक्सी यानी आकाशगंगा के भी कई सारे पोस्ट शेयर करते हैं और टाइम ट्रेवल भी उसी का ही एक हिस्सा है ।
इसलिए हमने यह पोस्ट आप सबके लिए शेयर की है । वैसे दोस्तों अगर आप हमारी गैलेक्सी की बातें और घटनाएं पढ़ना पसंद करते हो तो एक बार वह कैटेगरी भी जांच लें और अपने सवाल भी हमसे जरूर करें । हम हमारे ब्रह्मांड के कई सारे ऐसे राज और बातें उस कैटेगरी में जोड़ देते हैं । जो कि आपको सोचने के लिए मजबूर कर देती हैं । उसी का एक हिस्सा यानी कि टाइम ट्रेवल । यही हमें आज जानना है वैसे दोस्तों हमने टाइम ट्रेवल पर बनी कुछ फिल्म को भी एक पोस्ट द्वारा आप तक पहुंचाई है । तो आप वह पोस्ट भी पढ़ सकते हो और आपकी राय दे सकते हो
दोस्तो आप ने कई बार कई सारे न्यूज़ में देखा होगा या पोस्ट में यह पढ़ा होगा कि कोई व्यक्ति टाइम ट्रेवल करके वापस आया या फिर वह किसी दूसरे डायमेंशन में चला गया तो यह क्या होता है और किस तरह से आपको पेश किया जाता है इसके बारे में हम काफी विस्तार से जानते हैं । दोस्तों जब भी आप ऐसी कोई पोस्ट पढ़ते हो तो आपको भविष्य से आज की दुनिया में आया है ऐसा देखने को मिलेगा ।
पर आप कभी यह नहीं पढ़ोगे कि कोई व्यक्ति भविष्य में आगे जाकर फिर दोबारा से वहां पर ही वापस आया है । सिर्फ भविष्य से आज की दुनिया में या वर्तमान में आना यही आपको हर बार पढ़ने को मिलता है । इसका एक कारण यह हो सकता है कि भविष्य यानी आनेवाली टेक्नोलॉजी हमसे काफी आगे होगी या फिर जो आपको ऐसी न्यूज़ बताता है या फिर किस्से बताता है वह झूठ बोल रहा है ।
अगर सच में ही आने वाली टेक्नोलॉजी हमसे आगे होगी तो जरूर भविष्य से कोई वापस आ सकता है । पर अभी तो हमारे पास ऐसे कोई टेक्नोलॉजी नहीं है । इसका मतलब यह नहीं है कि हम टाइम ट्रैवल की कोई टेक्नोलॉजी नहीं बना सकते हैं । कई सारे वैज्ञानिक टाइम ट्रैवल टेक्नोलॉजी बनाने में जुट गए हैं और आने वाले समय में हमें टाइम ट्रैवलिंग का भी मौका मिल सकता है ।
पर ऐसी टेक्नोलॉजी बनाने के लिए क्या करना होगा इसके बारे में मेरी भी कुछ राय दूंगा । वैसे तो मैं वैज्ञानिको जितना आगे का नहीं सोचता हूं पर जो भी मुझे सही लगे वही मैं आपको बताऊंगा । तो दोस्तों इस पोस्ट से आप क्या कुछ नया इंटरेस्टिंग और यूज़फुल जानेंगे इसके बारे में मैं सबसे पहले आपको कुछ मुद्दे बता देता हूं । उन मुद्दों पर भी हम अधिक चर्चा करेंगे ।
◆ टाइम ट्रैवलिंग क्या होता है?
◆◆ टाइम किस तरह से काम करता है?
◆◆◆ टाइम ट्रैवलिंग के लिए क्या करना जरूरी है?
◆◆◆◆ क्या हम सच में टाइम ट्रेवल कर सकते हैं?
टाइम ट्रैवलिंग क्या है ?
दोस्तो टाइम टाइम का मतलब होता है समय और ट्रैवलिंग का मतलब होता है सफर । यानी कि आप अपने बीते या आने वाले टाइम में किसी भी वक्त में सफर कर सकते हो और उसी को टाइम ट्रेवल कहा जाता है । टाइम ट्रेवल की व्याख्या बीते दिनों में काफी उलझी हुई रहती थी । जितने भी शोधकर्ता थे वह अपने आकाशगंगा और अन्य तरह के शोध करते थे ।
पर इंसानों की दिलचस्पी हर एक वस्तु और अनुमान पर लगी रहती है । यह तो आप जानते ही हो । तो टाइम ट्रेवल यानी बीते हुए कल में या फिर आने वाले कल तक क्यों नहीं जा सकते यही सवाल इंसानों के मन में हमेशा गूंजते रहे और इसी को चलते टाइम ट्रेवल की भी कई सारी थिअरीज बनने लगी ।
दोस्तो टाइम ट्रेवल जितना आसान लगता है उतना होता नहीं है क्योंकि यह आज तक किसी ने भी तय नहीं किया है क्योंकि टाइम ट्रेवल सच में होता है या नहीं वह भी किसी को पता नहीं है । कुछ थिअरीज और फिल्मों के अलावा हमें टाइम ट्रेवल के बारे में ज्यादा कुछ तो पता नहीं है ।
दोस्तों टाइम ट्रेवल यानी कि एक समय के अंदर घुसना और दूसरे किसी अन्य समय से बाहर निकलना । यह एक ट्यूब या पाइप की तरह से हो सकता है । पिछले कई सालों पहले यानी 19वीं शताब्दी में टाइम ट्रेवल एक कल्पना भर की चीज हुआ करती थी । वैसे टाइम ट्रेवल आज भी एक कल्पना हूं है ।
टाइम ट्रेवल को क्वांटम फिजिक्स का एक महत्वपूर्ण भाग या सब्जेक्ट भी कह सकते हैं । दोस्तों टाइम ट्रेवल के पहले आपको टाइम किस तरह से काम करता है यह भी जाना जरूरी है । हम जो भी आज के समय में टाइम का इस्तेमाल करते हैं जो कि घड़ी के या घंटे के अनुसार होता है । उसे तो हम काफी आसानी से घड़ी देखकर नाप सकते हैं ।
पर जो अंतराल का टाइम होता है उसके बारे में भी जानना जरूरी है । तो अगले किसी पोस्ट में हम अंतराल के टाइम के बारे में भी काफी विस्तार से जानेंगे । महान फिजिक्स शास्त्रज्ञ अल्बर्ट आइंस्टाइन का यह भी कहना है कि टाइम हमारी फोर्थ डाइमेंशन है । दोस्तों डाइमेंशन क्या होते हैं यह जानने के लिए भी आपको एक पोस्ट का इंतजार करना होगा । हम जल्द डायमेंशन क्या होते हैं इस पर भी एक पोस्ट आपके लिए जरूर लाएंगे ।
टाइम किस तरह से काम करता है ?
दोस्तों मैंने अभी ऊपर बता दिया कि टाइम आप घड़ी देखकर बता सकते हो कि कितना टाइम बीत गया है या फिर कितना टाइम बितने वाला है । हमें घड़ी के हिसाब से रूल बना कर दिए गए हैं और उसी हिसाब से हम टाइम को हर बार गिनते हैं या फिर सुनिश्चित करते हैं पर टाइम किस तरह से काम करता है इसके लिए मैं आपको एक छोटा सा उदाहरण दूंगा कि अगर आप हमारे पृथ्वी पर टाइम को गिनोगे तो वह टाइम 1 दिन का 23 hours, 56 minutes and 4.09053 seconds है ।
उसी तरह बाकी के ग्रह भी अलग-अलग वक्त में अपने एक्सेस पर अलग-अलग घूमते रहते हैं । पर बात यहां पर खत्म नहीं होती है दोस्तों अगर आप स्पेस से टाइम को गिनते हो तो आपको एक दिन नवाद मिनट में पूरा होता हुआ देखने को मिलता है क्योंकि स्पेस में आप कई बार सूरज को निकलते और ढलते हुए देख सकते हो । अगर बात करें तो जैसे जैसे आप सूरज से दूर जाते हो वैसे वैसे यहवक्त भी कम होता हुआ देखने को मिलता है क्योंकि आप जैसे-जैसे सूरज से दूर जाओगे आपको ब्राह्मण उतना ज्यादा बडा देखने को मिलेगा और इसी वजह से आप सूरज को भी ज्यादा वक्त देख सकते हो ।
टाइम को अलग अलग तरह से नापना हो तो आप दो देशों का उदाहरण ले सकते हो जैसे कि मुंबई जों टाइम होगा वह कन्याकुमारी या दिल्ली में सेम नहीं नहीं होगा उसमें कुछ सेकंड या मिनट का फर्क होगा पर यह डिस्टेंस बढ़ाया जाए और मुंबई और नेथरलांड से कंपीयर किया जाए तो कुछ घंटो का फर्क देखने को मिलेगा ।
अब इसी उदाहरण को और बढ़ाते हुई हम पृथ्वी और चांद या मंगल ग्रह से कम्पेयर करे तो कुछ घंटे या दिन कहा फर्क देखने को मिलेगा । अब earth पे टाइम नापने के लिए हम डिस्टेंस का सहारा लेते है क्युकी सूरज से आने वाला प्रकाश और देश किस रेखा पर बसा है उसके हिसाब से टाइम लोकेट किया है । पर ग्रहों से टाइम का कैलकुलेशन करे तो ग्रह कि अपने अक्ष पर घूमने की स्पीड , सूरज से एक चक्कर पूरा करने का टाइम यह बाते ध्यान में ली जाती है ।
पर दोस्तों आपको यह पता है कि आपकी जो वॉच है वह जैसे-जैसे स्पेस की ओर और हमारे पृथ्वी से दूर चली जाती है वैसे वैसे वह टाइम को अभी अलग-अलग बताती है । इसलिए स्पेस में जाने वाले एस्ट्रोनॉट को अलग तरह की वॉचेस दी जाती है जो सामान्य वॉच से अलग होती है और अलग तरीके से टाइम बताती है जिसे ओमेगा स्पीड मास्टर वॉच भी कहा जाता है ।
जो एस्ट्रोनॉट को पृथ्वी के अलग-अलग देशों की और जगह की हिसाब से टाइम बता देता है । यह वॉचेस काफी जरूरी है । इससे एस्ट्रोनॉट अपने काम का और बाकी एक्टिविटी का बारीकी से ख्याल रखते हैं । दोस्तों अगर टाइम को बारीकी से समझे या फिर जानना है तो हम उसे भूतकाल भविष्य काल और वर्तमान काल से जोड़ सकते हैं या फिर समझ सकते हैं । अगर आप भी चाहते हो कि अवेंजर एंडगेम में किस तरह से टाइम ट्रैवलिंग को दर्शाया है इसका आपको प्रॉपर नॉलेज मिले तो कमेंट में जरूर बताएं । हम उस पर भी एक पोस्ट आपके लिए जरूर शेयर करेंगे ।
टाइम ट्रैवलिंग के लिए क्या करना जरूरी है ?
दोस्तो टाइम ट्रैवलिंग के लिए क्या करना पड़ सकता है इसके बारे में मैं तो कुछ ज्यादा नहीं बता सकता पर अगर आप सुनना ही चाहते हो तो मैं आपको बता दूं कि, टाइम ट्रैवलिंग के लिए सबसे पहले हमें हमारे टाइम के रास्ते ढूंढने जरूरी है । वैसे उस अवेंजर एंडगेम फिल्म में भी यही कहा था कि हमें उस टाइम ट्रैवलिंग के रास्ते भी पता नहीं है ।
वह अगर हमें मिल जाए तो टाइम ट्रैवलिंग भी आसान हो जाएगी और हम किसी भी वक्त से किसी भी वक्त तक जा सकते हैं । दोस्तों एंडगेम फिल्म की टाइम थिअरी मुझे थोड़ी बहुत पसंद आती है पर काफी सारी कमियां उसमें भी है उस पर हमने एक अलग से एक पूरा आर्टिकल लिखा है आप वह भी पढ़ सकते हो ।
टाइम ट्रैवलिंग के लिए रास्ता ढूंढने के साथ-साथ हमें यह भी देखना है कि हमें टाइम ट्रैवलिंग के लिए शुरुआत अपने अर्थ यानी पृथ्वी से करनी चाहिए या स्पेस से कहीं शॉर्टकट ढूंढना चाहिए क्योंकि पृथ्वी पर तो सारी चीजें पहले से ही पूरी हो चुकी है या फिर निकल चुकी है । अब अगर आपने यह सुना होगा कि पृथ्वी की प्लेट हर वक्त थोड़ी-थोड़ी सरकती रहती है तो अगर हम टाइम के साथ पीछे चले जाते हैं तो क्या वह प्लेट भीउसी जगह पर दोबारा पाई जाएगी या नहीं या फिर कहीं पूरा इलाका जंगल से घिरा हो और आज के वर्तमान में वहां पर सारे बिल्डिंग और घर बने हो तो क्या टाइम ट्रेवल द्वारा वह भी गायब हो जाएंगे ।
यहां पर कई सारे सवाल इकट्ठा होते हैं यानी कि टाइम हम जितना आसान समझते हैं उतना वह होता नहीं है । इसे अल्बर्ट आइंस्टीन द्वारा चौथी डायमेंशन बताया गया है जिसे पार करना आसान तो जरा भी नहीं है पर मुश्किल भी नहीं है । क्योंकि मैंने कई सारे पोस्ट में आपको यह बताया है कि, किस तरह से फिल्मों में बताया गया है ।
उस तरह से देवी देवता चमत्कार किया करते थे या फिर गायब हुआ करते थे या फिर अपनी शक्ति से जो जो चाहे वह बन सकते थे वही टेक्नोलॉजी आज हम थोड़ी बहुत आजमा रहे हैं । जैसे कि दूर से ही लेजर द्वारा शूट करना कृत्रिम तरह से बारिश लाना या फिर इनविजिबल पैनल द्वारा चीजें गायब करना तो मैं आपसे यही कहूंगा कि जो पहले हमें मायावी जादू लगता था वह अब टेक्नोलॉजी द्वारा पूरा करने की कोशिश हो रही है । तो वैसे ही टाइम ट्रेवल भी एक दिन जरूर पूरा होगा ।
क्या हम सच में टाइम ट्रेवल कर सकते हैं ?
दोस्तों अभी के लिए या फिर अगले 10 सालों के लिए तो टाइम ट्रेवल संभव होना थोड़ा भी आसान नहीं है या फिर टाइम ट्रेवल की कोई गुंजाइश ही नहीं है क्योंकि सबसे पहले टाइम ट्रैवल के लिए जो पर्याप्त टेक्नोलॉजी हमारे पास चाहिए वह अभी तक हम इकट्ठा नहीं कर पाए हैं और दूसरी बात यह कि टाइम ट्रेवल के लिए कौन सा रास्ता सही है इसके बारे में भी हम अभी तक नहीं जानते हैं ।
हालांकि टाइम को शॉर्टली पास करने को हमें पृथ्वी से ही रास्ते ढूंढने जरूरी है या फिर अंतरिक्ष से वह रास्ते मिल सकते हैं । इसका कोई अनुमान नहीं लगा सकता है । मेरे ख्याल से और एक बात यह भी है कि हम सिर्फ टाइम में पीछे जाने की ही टेक्नोलॉजी अभी तक ढूंढ रहे हैं । पर टाइम ने आगे जाने की टेक्नोलॉजी हमने अभी तक नहीं ढूंढी है ना उसका कहीं जिक्र हुआ है ।
आने वाले समय में अगर इंसानों द्वारा टाइम मशीन जिसे टाइम कैप्सूल भी कहा जाता है वह बना लिया तो इंसान टाइम में पीछे जाने का कभी सोचेगा भी नहीं । हां टाइम में आगे जाने के बारे में कई सारे फायदे मुझे तो नजर आते हैं ।
एक फिल्म में मैंने यह देखा है कि टाइम में पीछे जाकर किस तरह से एक गुनहगार को पकड़ा जाता है अगर आप भी वह फिल्म देखना पसंद करते हैं तो मुझे कमेंट जरुर करें । कमेंट बॉक्स में वह फिल्म भी बता दूंगा या फिर आने वाले पोस्ट में उस फिल्म को भी ऐड कर दूंगा तो टाइम ट्रेवल से क्या फायदा होगा या टाइम में पीछे जाने से क्या फायदा होगा यह तो आपको समझ में आ ही गया होगा । हम कई सारे संदिग्ध केस को सुलझा सकते हैं ।
साथ में हमारा इतिहास जान सकते हैं और अगर हम टाइम में आगे जाते हैं तो हम आने वाले भविष्य में अपनी मौत को देख सकते हैं । आने वाले 50 साल की टेक्नोलॉजी 5 मिनट में भी देख सकते हैं वैसे इसके फायदे नुकसान तो बहुत है जैसे कि अगर कोई टाइम कैप्सूल खराब हो जाता है या फिर रिटर्न आने के रास्ते हम नहीं ढूंढ पाए तो हम टाइम में वही फस सकते हैं ऐसे कई सारे नुकसान भी हमें उठाने पड़ सकते हैं ।
दोस्तों इस पोस्ट में हमने जाना कि " टाइम ट्रैवलिंग क्या होता है? टाइम किस तरह से काम करता है? टाइम ट्रैवलिंग के लिए क्या करना जरूरी है? क्या हम सच में टाइम ट्रेवल कर सकते हैं? What is time travel? How does time work? Can we really travel time? "
तो दोस्तों यह आर्टिकल कैसा लगा COMMENT जरूर करें । अगर इस आर्टिकल से जुड़ा आपका कोई सवाल है तो कृपया कमेंट बॉक्स में जरूर पूछे । ताकि आपके साथ और भी लोगों की परेशानी दूर हो । अगर आर्टिकल अच्छा लगे तो इसे अपनों में और आपके पसंदीदा सोशल मीडिया वेबसाइट पर SHARE जरूर करें । अन्य सोशल मीडिया साइट पर हमारे नोटिफिकेशन पाने के लिए कृपया हमें आपके पसंदीदा सोशल मीडिया साइट पर फॉलो भी करें । ताकि हमारा आने वाला कोई भी आर्टिकल आप मिस ना कर सको । हमें Facebook , Instagram , Linkedin , Twitter , Pinterest और Telegram पर फॉलो करें । साथ में हमारी आनेवाली पोस्ट के ईमेल द्वारा Instant Notification के लिए FeedBurner को SUBSCRIBE करें ।
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